कोराना से जुड़े कुछ ज़वाब जिन्हें आप को जानना चाहिए

1-गर्म पानी पीने से बचाव होता है? वायरस शुरू के 2-3 दिन तक गला पकड़ता हैं। ऐसे में गुनगुना पानी, काढ़ा, चाय, सूप पीते हैं तो कुछ हद तक लाभ मिलता है। गुनगुना पानी पीने से गले को राहत मिलती है। 
2- क्या यह दोबारा भी हो सकता है?
3- वायरस का असर कितने दिन तक? इसकी लाइफ कई दिनों की है। लेकिन हवा में तीन घंटे, लकड़ी पर एक दिन और स्टील व प्लास्टिक पर तीन दिनों तक सक्रिय रह सकता है। सफाई का ध्यान रखें। 
4- छोटे बच्चों में इसका असर देखने को मिल रहा है? छोटे बच्चों में भी कोरोना हो रहा है लेकिन उनमें सामान्य सांस की बीमारी जैसे निमोनिया आदि की तरह लक्षण दिख रहे हैं। विशेष सावधानी बरतें। 
5- स्वीमिंग पूल कितना सुरक्षित है? स्वीमिंग पूल में नियमित क्लोरीन मिलाया जाता है। अगर क्लोरीन मिला है तो उस पानी से डरने की बात नहीं लेकिन चेंजिंग रूम से कोरोना का इन्फेक्शन फैल सकता है। 
6- कोरोना में कौनसी दवाइयां न लें? कोरोना वायरसजनित रोग हैं। इनमें एंटीबायोटिक्स या कोई दवा अपने मन से न लें। एंटीबायोटिक्स से लाभ नहीं मिलता है। इसके उलट रेजिस्टेंस का खतरा बढ़ जाता है। यहां तक कि पैरासिटामॉल या कोई पेन किलर तक न लें। इससे समस्या गंभीर हो सकती है। 8- अधिक तापमान पर ये वायरस मर जाएंगे? अभी किसी अध्ययन में यह साबित नहीं हुआ है कि तापमान बढऩे (27 डिग्री) पर वायरस मर जाएंगे। कुछ देशों में अधिक तापमान पर भी यह फैल रहा है। 

COVID-19: पीएम मोदी को चिकित्सको का जवाब, हमे आप की ताकि नहीं संसाधन चाहिए

चिकित्सा पेशेवर और अन्य कर्मचारी) के प्रयासों की सराहना करें। लेकिन भारत के चिकित्सा पेशेवर, जो कोरोनोवायरस के प्रसार के खिलाफ लगातार कड़ी लड़ाई लड़ रहे हैं, पीएम मोदी की अपील से खुश नहीं हैं। कोरोना के खिलाफ कठिन लड़ाई के लिए लम्बे समय से संसाधनों की मांग कर रहे कई चिकित्सा पेशेवर ट्विटर पर सामने आए हैं। ट्विट करते हुए एक सर्जन ने लिखा है कि मुझे आपकी ताली नहीं चाहिए। मैं अपनी भलाई सुनिश्चित करने के लिए आपके वास्तविक और पूरे प्रयास चाहती हूं। मुझे व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण चाहिए। मैं बेहतर सरकारी रणनीति चाहती हूं। मैं आपके कार्यों में विश्वास रखना चाहती हूं। बेहतर करें।

चिकित्सक भी आए चपेट में

गौरतलब है कि भारत में कोरोना के खिलाफ लड़ाई लड़ रहे चिकित्सा पेशेवरों को बड़े पैमाने पर संसाधनों की कमी का सामना करना पड़ रहा है। संक्रमित मरीज के इलाज कर रहे चिकित्सक और चिकित्सा दल को संक्रमण से बचाव के लिए विशेष संसाधनों की आवश्यकता होती है, इसके बिना उनकी जान को भी खतरा हो सकता है।

अगर बुखार हो तो लापरवाही न करे, जाने ये खास बातें

COVID- 19, janta curfew: बुखार कई रोगों का संकेत या कारण होता है, जैसे वायरल, डेंगू या मलेरिया। लक्षणों के अनुसार बुखार की दस किस्म हैं, जिनका उपचार और समयावधि अलग हैं। बुखार कैसा भी हो थोड़ी-सी भी लापरवाही तकलीफ बढ़ा सकती है। 
सीजनल फ्लू -
मौसम व तापमान बदलने से बुखार आता है। सामान्यत: दो दिन सीजनल फ्लू परेशान करता है लेकिन लापरवाही तकलीफ बढ़ा सकती है। इसलिए डॉक्टर को दिखाएं।
फ्लू-
कंपकपी, नाक बहना, सिरदर्द फ्लू के प्रारंभिक लक्षण हैं। इसे लो ग्रेड फीवर माना जाता है। इसके लिए डॉक्टरी सलाह से दवा लें। खांसते या छींकते समय मुंह पर कपड़ा रखें। इंफेक्शन - खराब जीवनशैली व गंदगी की वजह से कीटाणुओं के संपर्क में आने पर संक्रमण होता है। पेट या गले में इंफेक्शन से भी बुखार आता है इसलिए साफ-सफाई का ध्यान रखें।
वायरल फीवर -
इस बुखार से पीडि़त व्यक्ति के संपर्क से या प्रदूषित खाद्य पदार्थ व पानी से वायरल फीवर होता है। यदि लगातार नाक बहे, सिरदर्द या खांसी हो तो डॉक्टर को दिखाएं। वायरल फीवर से बचने का सबसे असरकारक तरीका है हाइजीन का खयाल। इसलिए साफ-सुथरे वातावरण में रहें और ताजा खानपान लें।
डेंगू फीवर -
आंखों या सिर में दर्द या स्किन रैशेज के साथ अचानक तेज बुखार डेंगू फीवर के लक्षण हो सकते हैं। ऐसा बुखार 24 घंटे से ज्यादा रहे तो डॉक्टर से परामर्श लें और उनके बताए अनुसार जांचें करवाएं। 
मलेरिया -
सर्दी लगकर बुखार आना मलेरिया के लक्षण हो सकता है। इसमें पसीना भी बहुत आता है। मलेरिया की पुष्टि होने पर दवा का पूरा कोर्स लें। घर में या आसपास पानी जमा न होने दें।
लम्बी सांस लेने से फेफड़े होते है मजबूत
प्राणायाम के लाभ फेफड़ों की सफाई के लिए प्राणायाम अच्छा आसन है। इसमें गहरी श्वांस लेते हैं। शरीर को पर्याप्त ऑक्सीजन मिलती है जो फेफड़ों को साफ करती है। सांस लेने और छोडऩे का तरीका किसी योग विशेषज्ञ से जरूर सीख लें। कपालभाति इस क्रिया को रोजाना कम से कम पांच मिनट करें। फेफड़ों की सफाई के साथ नाड़ी की भी सफाई होती है जिससे मन-मस्तिष्क को भी शांति मिलती है। फेफड़ों की ब्लॉकेज खुलता है। नर्वस सिस्टम व पाचन क्रिया भी दुरुस्त होती है। अनुलोम विलोम यह फेफड़ों की मजबूती के लिए अच्छा आसन है। संपूर्ण शरीर और मस्तिष्क के शुद्धीकरण के लिए अनुलोम-विलोम प्राणायाम उपयोगी है। तन-मन दोनों को तनावमुक्त करता है। सुबह-शाम 10-15 मिनट तक कर सकते हैं।

देश में 24 लोगो ने जीती कोराना की जंग, बचाव के लिए आप भी करे इन बातो का पालन 

95 हजार से ज्यादा लोग कोरोना से जंग जीत कर स्वस्थ हुए हैं। भारत में अब तक जहां 324 लोगों में कोरोना की पुष्टि हुई है और लोगों की मौत हुई है। वहीं  24 लोग कोराना से रिकवर हुए हैं। देश में कोरोना के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए भारत सरकार ने रविवार को देशभर में जनता कर्फ्यू लागू किया है, साथ ही लाेगाें काे कोविड—19 से बचाव के लिए विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा जारी निर्देशों का पालन की सलाह लगातार दी जा रही है। आइए जानते हैं कोरोना वायरस को रोकने के लिए हमें क्या कदम उठाने चाहिए COVID-19 से बचाव के उपाय - कोरोना वायरस मुख्य तौर पर संक्रमित व्यक्ति के करीब सम्पर्क (लगभग 6 फीट के भीतर) से ज्यादा फैलता है। जब एक संक्रमित व्यक्ति खांसता या छींकता है तो इसकी बूंदे दूसरे व्यक्ति में मुंह या नाक में जा सकती है। जिससे दूसरे व्यक्ति में संक्रमण होने का खतरा बढ़ जाता है। बचाव के लिए संक्रमित व्यक्ति से दूरी बनाएं रखें और मॉस्क का प्रयोग करें ताकि संक्रमित बूंदे आपको नुकसान न पहुंचा सकें। - कोरोना प्रभावित देशों की यात्रा से लौटने के अगले 14 दिनों तक अन्य व्यक्तियों के साथ सम्पर्क नहीं करें। - यात्रा पर ना जाएं, घर से निकलना भी कम करें। मेलों व भीड़-भाड़ वाले स्‍थानों, धार्मिक स्‍थलों, उत्‍सवों आदि आयोजनों में नहीं जाएं।
- हाथ न मिलाएं – नमस्ते से काम चलाएं। - मोबाइल फोन को भी नियमित रूप से सेनेटाइजर से साफ करें। - रोगाणुनाशक से नियमित घर की सफाई करें।

Corona  janta curfew- घर पर बैठ कर कुछ ऐसा खाए जिससे आपका मूड अच्छा रहे, जाने इसके बारे में

  

आप कर्फ्यू के चलते बोर फिल कर रहे हो तो कुछ ऐसी चीजे खाए जिससे आपका मूड अच्छा रहे। पूरा दिन तनावभरा रहता है। इसलिए डाइट में ऐसी चीजें शामिल करें जो आपता फ्रेश रखें। केला देता फील गुड - केले से तुरंत ऊर्जा तो मिलती ही है, इसमें मौजूद 'ट्रिप्टोफैन' से फील गुड हॉर्मोन सेरेटोनिन भी बढ़ता है। तनाव दूर कर दिमाग में खुशी का अहसास बढ़ाने के लिए विटामिन बी-12, फॉलिक एसिड, साबुत अनाज, सोया, चुकंदर, ओटमील व सरसों का साग खाएं। सूखे मेवे घटाते तनाव - अखरोट व बादाम में मौजूद ओमेगा-3 फैटी एसिड्स ब्रेन को ऊर्जावान बनाकर तनाव घटाते हैं। संतरा बनाता तरोताजा - संतरे व अंगूर में मौजूद विटामिन-सी, फ्लेवोनाएड्स जैसे तत्त्व फ्रेश फील कराने का काम करते हैं। दूध बढ़ाता है खुशी - दूध में मौजूद ट्रिप्टोफैन नामक तत्त्व खुशी के हॉर्मोन सेरोटोनिन का लेवल बढ़ाने में मदद करता है। इसमें पाए जाने वाले एंटीऑक्सीडेंट्स और विटामिन्स ब्रेन के न्यूरोट्रांसमीटर्स पर फ्री रैडिकल्स से होने वाली क्षति की क्रिया को नियंत्रित करते हैं।

कोराना से डरो ना, जानिए कैसे बढ़ाएं लड़ने के लिए इम्यूनिट

  
नई दिल्ली-
विटामिन इंसान के इम्यून सिस्टम को बूस्ट कर सकते हैं. ऐसा होने पर हर तरह का रोग आपके शरीर से दूर ही रहेगा। तीन प्रकार के विटामिन हमारे शरीर को लड़ने की ताकत देता है, इससे हमेरी इम्यूनिटी सिस्टम बढ़ता है। यह है विटामिन-सी, विटामिन-ई, विटामिन-डी रोगप्रतिरोधक क्षमता मजबूत करने के लिए सबसे ज्यादा जरूरी हैं। इन तत्त्वों की भरपाई के लिए गाजर, पालक, चुकंदर, टमाटर, फूलगोभी, खुबानी, जौ, भूरे चावल, शकरकंद, संतरा, पपीता, बादाम, दूध, दही, मशरूम, लौकी के बीज, तिल आदि उपयोगी हैं। हरी सब्जियों-फलों को विशेष रूप से भोजन में शामिल करें।
विटामिन-सी
खट्टे आहार जैसे नींबू, संतरा और आंवला आदि कुछ ऐसे आहार हैं, जिन में विटामिन सी प्रचुर मात्रा में पाया जाता है। बेहतर स्वास्थ्य के लिए इन्हें किसी न किसी रूप में आपको अपने आहार में अवश्य शामिल करना चाहिए। पालक में आयरन तो प्रचुर मात्रा में होता है ही, साथ ही इसमें विटामिन सी भी मौजूद होता है। वैसे इसमें आपको आयरन व विटामिन सी के अतिरिक्त विटामिन ए, फोलिक एसिड, मैग्नीशियम और बीटा कैरोटिन आदि भी पाया जाता है। हरी मिर्च में भी काफी मात्रा में विटामिन सी पाया जाता है।

60 से 80 साल के के बुजुर्गों के लिए घातक हैं कोराना, जानिए विदेशो में क्या प्रभाव हो रहे उन्हें बचाने के 

'सीनियर्स ओनली हावर' (Senior's Only Hour)
यानि केवल बुजुर्गों के लिए इस कस्टम खरीदारी को जहां लोग पसंद कर रहे हैं वहीं विशेषज्ञों को यह सुझाव रास नहीं आ रहा है। 'सीनियर्स ओनली हावर' में 60 साल से ज्यादा उम्र के बुजुर्ग सुबह 6 से 7.30 बजे तक इन स्टोर्स पर खरीदारी कर सकते हैं। डॉलर जनरल नाम की रिटेल कंपनी की प्रवक्ता क्रिस्टल घस्सेमी का कहना है कि वह बुजुर्गों को भीड़ से बचाने के लिए ऐसा कर रही है। अमरीकी स्वास्थ्य विभाग (सीडीसीपी) का कहना है कि चीन से मिले आंकड़ों के अनुसार 80 साल के बुजुर्गों के लिए यह वायरस सबसे ज्यादा घातक साबित हो रहा है। कई देशों में बुजुर्गो के लिए अलग से शॉपिंग टाइम को चुनौती इसलिए हो रहा विरोध लेकिन 'सीनियर्स ओनली हावर' का विरोध करने वाले भी कम नहीं। टेक्सास, मेक्सिको, न्यूयॉर्क और वाशिंगटन में सैकड़ों ग्रोसरी स्टोर मालिकों ने ऐसा करने से मना कर दिया है। उनका कहना है कि स्वास्थ्य अधिकारियों की ओर से मिले इस प्रस्ताव को उन्होंने पूरी तरह से खारिज कर दिया है। इससे बुजुर्गों के अलावा उन्हें और कर्मचारियों को भी संक्रमण का खतरा है। वहीं इससे बुजुर्गों को कितना फायदा होगा यह भी निश्चित नहीं है। 
कई देशों में बुजुर्गो के लिए अलग से शॉपिंग टाइम को चुनौती कितने लोग एकत्र हों तय नहीं स्टोनी ब्रूक मेडिसिन में संक्रामक रोग विभाग की प्रमुख बेट्टीना फ्राइज का कहना है कि भीड़ से बचने की सलाह देने वाला स्वास्थ्य विभाग खुद ही ऐसे प्रस्ताव को स्वीकृति देकर जोखिम मोल ले रहा है। अभी तक यह भी तय नहीं है कि कि कितने बुजुर्गों के एक साथ एकत्र होने पर संक्रमण का खतरा नहीं है। ऐसे में खरीदारी के लिए विशेष समय देना गले नहीं उतर रहा है। क्योंकि चाहे कितने भी कम लोग आएं शॉपिंग मॉल और स्टोर में आप एक-दूसरे के बहुत करीबी संपर्क से खुद को बचा लेंगे इसकी आशंका कम ही है। इससे बेहतर फोन पर ऑर्डर लेकर घर तक डिलीवरी की सुविधा देना ज्यादा अच्छा विकल्प था। कई देशों में बुजुर्गो के लिए अलग से शॉपिंग टाइम को चुनौती दी है।

घर पर व्यायामों से बड़ा सकते है इम्यूनिटी

 
कोरोना के कारण लोग कहीं आने-जाने से बच रहे हैं। यहां तक कि पार्क और जिम में भी नहीं जा रहे हैं। ऐसे में कुछ एक्सरसाइज हैं जिनको घर में ही बिना किसी उपकरण की मदद से कर सकते हैं। रोज 40-45 मिनट व्यायाम करना चाहिए। घर पर करें ये व्यायाम कुछ व्यायाम हैं जिनको घर पर ही किया जा सकता है। इनमें बर्पीज, रिवर्स लंज, पुसअप, प्लैंक आदि प्रमुख हैं। इनको करने से न केवल आप स्वस्थ रहेंगे बल्कि हमारी प्रतिरोधक क्षमता भी बढ़ेगी।
प्लैंक-
यह कोर को चैलेंज करता है। लोअर बैली के फैट को घटाने में मदद करने के साथ लोअर बैक में मजबूती लाता है। लोअर बैक में दर्द को भी दूर करता है। इसेे 40 सेकंड के कई राउंड में कर सकते हैं।
बर्पी-
यह फुल बॉडी व्यायाम है जो हृदय रोगों से बचाता है। इसको नियमित करने से शरीर का फैट बर्न होता है। इस व्यायाम से शरीर को ताकत मिलती है। साथ ही रोग प्रतिरोधक क्षमता में वृद्धि होती है।
रिवर्स लंज-
यह व्यायाम शरीर को मजबूत करता है। यह व्यायाम 15 मिनट नियमित करने से मांसपेशियां मजबूत होने के साथ ही शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य बेहतर होता है।
प्लैंक-
यह कोर को चैलेंज करता है। लोअर बैली के फैट को घटाने में मदद करने के साथ लोअर बैक में मजबूती लाता है। लोअर बैक में दर्द को भी दूर करता है। इसेे 40 सेकंड के कई राउंड में कर सकते हैं।
पुशअप-
इसमें ऊपरी हिस्से का व्यायाम होता है। चेस्ट, शोल्डर, बैक, बाइसेप्स, ट्राइसेप्स और कॉलर बोन तक को लाभ मिलता है। ऐब्स अच्छे बनते हैं। यह शरीर को बलिष्ठ बनाने मे मदद करता है। इसमें ऊपरी हिस्से का व्यायाम होता है। चेस्ट, शोल्डर, बैक, बाइसेप्स, ट्राइसेप्स और कॉलर बोन तक को लाभ मिलता है। ऐब्स अच्छे बनते हैं। यह शरीर को बलिष्ठ बनाने मे मदद करता है।